कोरबा में तंत्र-मंत्र के दौरान तीन लोगों की संदिग्ध मौत; 5 लाख को 2.5 करोड़ बनाने का लालच, पुलिस को जहरखुरानी की आशंका

राजेंद्र देवांगन
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ोरबा। छत्तीसगढ़ के कोरबा जिले में तंत्र-मंत्र के कथित अनुष्ठान के दौरान तीन लोगों की संदिग्ध मौत से सनसनी फैल गई। बुधवार देर रात बरबसपुर स्थित एक स्क्रैप यार्ड में स्क्रैप व्यवसायी अशरफ मेमन, तुलसी नगर निवासी सुरेश साहू और दुर्ग निवासी नीतीश कुमार के शव एक ही कमरे से मिले। घटना की जानकारी मिलते ही पुलिस व फोरेंसिक टीम मौके पर पहुंची।


5 लाख को 2.5 करोड़ बनाने का लालच, बिलासपुर से आया था कथित तांत्रिक

जांच में सामने आया कि यह पूरा मामला वित्तीय लालच और तंत्र-विद्या के झांसे से जुड़ा हुआ था।

  • बिलासपुर निवासी कथित तांत्रिक राजेंद्र कुमार अपने तीन साथियों के साथ बुधवार रात को कोरबा आया था।
  • दावा किया गया था कि तंत्र प्रक्रिया के जरिए 5 लाख रुपए को 2.5 करोड़ रुपए में बदला जा सकता है।
  • रकम बनने के बाद इसे आपस में बांटने की बात कही गई थी।

स्क्रैप व्यवसायी अशरफ मेमन भी इसी लालच के चलते इस अनुष्ठान में शामिल हुआ था।


एक-एक करके कमरे में बंद किया गया

रात करीब 11 बजे स्क्रैप यार्ड के कमरे में तंत्र-मंत्र का तथाकथित अनुष्ठान शुरू हुआ।

कथित तांत्रिक ने—

  • तीनों व्यक्तियों को अलग-अलग कमरों में बुलाया,
  • उन्हें नींबू दिया,
  • जमीन पर रस्सी से घेरा बनाकर भीतर बैठने कहा,
  • और कमरे को बाहर से ताला लगाकर बंद कर दिया।

उसने कहा था कि कमरे को 30 मिनट से 1 घंटे बाद खोला जाएगा।


दरवाजा खुला तो तीनों मृत मिले

निर्धारित समय के बाद जब दरवाजा खोला गया तो अंदर की स्थिति देखकर सभी स्तब्ध रह गए।

  • तीनों लोग निर्जीव हालत में पड़े थे।
  • मौके पर मौजूद लोग घबरा गए और पुलिस को सूचना दी।
  • उन्हें अस्पताल ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने तीनों को मृत घोषित कर दिया।

राजेंद्र के साथ आए अश्वनी कुर्रे ने भी स्वीकार किया कि मौत कैसे हुई, इसकी जानकारी उसे नहीं है।


जहरखुरानी का शक, फोरेंसिक टीम ने यार्ड सील किया

सीएसपी भूषण एक्का के अनुसार—

  • शुरुआती जांच में जहरखुरानी की आशंका सामने आई है।
  • हालांकि वास्तविक कारण पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट आने के बाद ही स्पष्ट होगा।
  • फोरेंसिक विशेषज्ञों ने मौके से नमूने इकट्ठे किए हैं और स्क्रैप यार्ड को सील कर दिया है।

पुलिस कथित तांत्रिक राजेंद्र और उसके साथियों से पूछताछ कर रही है, ताकि यह पता चल सके कि मामला—

  • तंत्र-विद्या के नाम पर धोखाधड़ी था

    या

  • किसी साज़िश के तहत यह घटना हुई।

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राजेंद्र देवांगन (प्रधान संपादक)