रेलवे ने 267 हरे-भरे पेड़ काटे: वन विभाग को अनुमति का आवेदन ही दिखा सके

राजेन्द्र देवांगन
3 Min Read

दक्षिण पूर्व मध्य रेलवे बिलासपुर डिवीजन के अफसरों ने वंदे भारत एक्सप्रेस के लिए नई पिट लाइन और मरम्मत डिपो बनवाने के लिए 267 हरे-भरे पेड़ों को कटवा दिए। इसकी शिकायत मिलने पर जब वन विभाग की टीम पहुंची तो वहां पर पेड़ों के कटे हुए ठूंठ ही नजर आए। काटे गए.वन विभाग के अफसरों ने जब पूछताछ शुरू की तो कोई जवाब नहीं दे सका।

जिस अफसर की देखरेख में यह काम हुआ उससे जब पेड़ कटाई की अनुमति वाला कागज मांगा गया तो उसके कार्यालय से एक लेटर दिखा गया जिसमें 242 पेड़ों को काटने एवं 50 पेड़ों को शिफ्ट किए जाने की अनुमति मांगी गई थी।वन विभाग के डिप्टी रेंजर जितेंद्र साहू और उनकी टीम ने मौके का निरीक्षण किया और अफसरों से जानकारी चाही।

लेकिन सिर्फ एक ही कागज उपलब्ध कराया गया। इस संबंध में संबंधित अफसर के बारे में पूछे जाने पर बताया गया कि वे उमरिया गए हैं। शुक्रवार को मिल पाएंगे। तब उन्हें शुक्रवार को अनुमति देने के दस्तावेजों के साथ वन विभाग के कार्यालय में उपस्थित होने कहा गया है।बताया गया कि अनुमति देने संबंधी जो पत्र रेलवे ने डीएफओ बिलासपुर को लिखा है वह 14 मई 2024 को लिखा गया है।

इसके बाद न तो कोई पत्र व्यवहार किया गया और न ही अनुमति के संबंध में किसी से बात ही की गई। डिप्टी रेंजर जितेंद्र साहू का कहना है कि बिना अनुमति के इतनी संख्या में पेड़ों को काटा जाना गंभीर अपराध है।इसके अलावा जिन पेड़ों को शिफ्ट किया जाना बताया जा रहा है वह भी पूरी तरह से गलत है।

इससे कोई भी पेड़ जीवित नहीं बचेगा। मामले में आदेश देने वाले अफसर और कटाई करने वाले ठेकेदार या फिर कंपनी सभी पर अपराध दर्ज किया जाएगा।

इन पेड़ों को काटने की अनुमति मांगी थी रेलवे के डिप्टी सीई गति-शक्ति यूनिट बिलासपुर प्रमोद कुमार साह ने डीएफओ को पत्र लिखकर नीम और महा-नीम के 25 पेड़, पलासा 2 नग, बबूल 37 नग, गंगा इमली 1, गुलमोहर 1, करही 1 के अलावा 30 सेमी गोलाई वाले बबूल, नीम गंगा इमली और सुबबूल के 155 पेड़ों कुल 242 पेड़ों काे काटने की अनुमति मांगी थी।

Share This Article