सरस्वती नगर थाना प्रभारी को 15 दिन में रिपोर्ट देने के आदेश
रायपुर, 10 अक्टूबर 2025।
छत्तीसगढ़ राज्य महिला आयोग ने महिलाओं से पैसों की ठगी करने वाले एक धोखेबाज़ के खिलाफ सख्त रुख अपनाया है। आयोग की अध्यक्ष डॉ. किरणमयी नायक ने सरस्वती नगर थाना प्रभारी को पत्र जारी कर तत्काल अपराध दर्ज करने और 15 दिनों के भीतर कार्रवाई की रिपोर्ट प्रस्तुत करने के निर्देश दिए हैं।
मामला क्या है?
आवेदिका ने आयोग को दी शिकायत में बताया कि एक व्यक्ति ने खुद को बैंक का कर्मचारी बताकर उसे जमीन दिलाने का झांसा दिया।
- आरोपी ने 1 लाख 25 हजार रुपये की राशि दो बार ₹50,000–₹50,000 ऑनलाइन और ₹25,000 नकद के रूप में ली।
- उसने कहा कि शेष राशि बैंक से फाइनेंस करवा देगा, मगर न तो प्लॉट दिलवाया, न ही पंजीयन (रजिस्ट्री) कराया।
- इसके बाद आरोपी ने कहा कि अब प्लॉट की कीमत 13 लाख रुपये हो गई है और दोबारा पैसे की मांग की।
आवेदिका ने आरोप लगाया कि आरोपी गरीब महिलाओं को प्लॉट और बैंक लोन का लालच देकर आर्थिक रूप से शोषित करता है और पैसे अपने निजी कार्यों में खर्च कर देता है।
सुनवाई में हुआ खुलासा
महिला आयोग की सुनवाई में आरोपी ने स्वयं स्वीकार किया कि 9 आवेदिका से ₹1.25 लाख लिए हैं।
सुनवाई के दौरान आरोपी ने यह भी कहा कि वह कई बैंकों से जुड़ा हुआ है और फाइनेंस कराने का काम करता है। आयोग ने इसे एक गंभीर अपराध मानते हुए स्पष्ट कहा कि यह “आर्थिक शोषण और धोखाधड़ी” का मामला है।
आयोग का निर्देश
महिला आयोग की अध्यक्ष डॉ. किरणमयी नायक ने निर्देश दिया है कि:
- आरोपी के खिलाफ धोखाधड़ी का अपराध (FIR) तुरंत दर्ज किया जाए।
- आरोपी की फोटो थाना परिसर में सार्वजनिक की जाए।
- उसकी फोटो और विवरण रायपुर के सभी बैंकों को भेजे जाएं, ताकि उसका बैंकिंग क्रेडेंशियल (KYC/क्रेडिट लिंक) रद्द किया जा सके।
- ताकि भविष्य में कोई और महिला इस तरह के धोखे का शिकार न बने।
- थाना प्रभारी को 15 दिनों के भीतर कार्रवाई रिपोर्ट महिला आयोग को भेजनी होगी।
आयोग का सख्त संदेश
महिला आयोग ने स्पष्ट किया है कि—
“जो कोई भी महिलाओं को झूठे सपने दिखाकर आर्थिक शोषण करता है, उसके खिलाफ कठोर कार्रवाई की जाएगी। महिला आयोग किसी भी पीड़िता को न्याय दिलाने के लिए तत्पर है।”