बिलासपुर। शनिवार यानि कल लाल बहादुर शास्त्री स्कूल मैदान में 43वां राउत नाच महोत्सव होगा। जिसमें यदुवंशी भगवान श्रीकृष्ण जैसा श्रृंगार की गड़वाबाजा की धुन पर थिरकते हुए वे रामायण की चौपाई, दोहों के गाकर मंगल आशीष देंगे और लठ्ठ संचालन कर शौर्य का प्रदर्शन करेंगे। साथ ही झांकियों में भगवान श्रीकृष्ण की भक्ति और सामाजिक संदेश होगा।
राउत नाच महोत्सव शाम से लेकर देर रात तक पारंपरिक प्रस्तुतियों होगी। जिससे लोककला की सतरंगी आभा सजेगी। गीत-संगीत और दोहों के साथ संदेश और लठ्ठ संचालन के साथ अनुठा शौर्य प्रदर्शन मैदान में बनें लगभग 80 फीट के गोल घेरे में होगा। रातभर महोत्सव चलेगा और दर्शक भी लोककला के रंग में रंगे रातभर कार्यक्रम का आनंद लेंगे।
शनिवार को होने वाले रावत नाच महोत्सव का सीएम भुपेश बघेल उद्घाटन करेंगे। वे शाम 4.30 बजे उद्घाटन करेंगे और लगभग एक घंटे रहेंगे। इसके बाद सड़क मार्ग से रायपुर के लिए रवाना होंगे। साथ ही गृह मंत्री तामृध्वज साहू, खा मंत्री अमरजीत भगत, महापौर रामशरण यादव, शहर विधायक शैलेष पांडेय, तखतपुर विधायक रश्मि आशीष सिंह, भिलाई विधायक देवेंद्र यादव, राज्य सहकारी बैंक अध्यक्ष बैजनाथ चंद्राकर, छत्तीसगढ़ कांग्रेस कमेटी के उपाध्यक्ष अटल श्रीवास्तव, पूर्व मंत्री अमर अग्रवाल, जिला पंचायत अध्यक्ष अरूण सिंह चौहान अतिथि के रूप में उपस्थित रहेंगे। कार्यक्रम की अध्यक्षता करेंगे कृष्ण कुमार यादव।
दल को मापदंड पर परखते है
समिति की ओर से प्रस्तुति देने वाले दलों को मापदंड पर परखा जाता है। इसके बाद ही विजेता की चयन होगा। जिसमें नर्तक दलों को पारंपरिक वेशभूषा, अनुशासन, प्रस्तुति, बाजा, लठ्ठ संचालन, गुस्र्द चालन व झांकी के आधार पर परखा जाता है। इस कसौटी में खरा उतरने के बाद विजेता का चयन किया जाता है। वहीं विजेता की घोषणा दूसरे दिन रविवार की सुबह की जाती है।
कोरोना को देखते रहेंगे कड़े नियम
कोरोना संक्रमण को देखते हुए प्रस्तुति देने वाले के साथ ही दर्शकों के लिए कड़े नियम होंगे। जिसमें पहले थर्मल स्क्रीनिंग होगी। यदि सब ठीक रहेगा तो ही अंदर प्रवेश मिलेगा। इसके बाद मास्क दिया जाएगा और सैनिटाइज किया जाएगा। इन प्रक्रिया से गुजरने के बाद ही प्रस्तुति देने वाले दल और दर्शकों को प्रवेश मिलेगा। इसके लिए समिति ओर से मुख्य प्रवेश द्वार में सभी व्यवस्था होगी।
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