बिलासपुर।शहर के शनिचरी बाजार में रोज़ाना सैकड़ों लोग ताज़ी मछली खरीदने पहुंचते हैं, लेकिन यहां के अस्थायी मछली विक्रेताओं के लिए अब तक कोई स्थायी व्यवस्था नहीं की गई है। वर्षों से अस्थायी शेड और टीन की टपरी में काम करने को मजबूर ये विक्रेता न सिर्फ गर्मी–बरसात में परेशान रहते हैं बल्कि ग्राहकों को भी स्वच्छ वातावरण में खरीददारी की सुविधा नहीं मिल पाती।
बुनियादी सुविधाओं का अभाव
विक्रेताओं का कहना है कि बाजार में उचित साफ–सफाई, पेयजल और जल निकासी की व्यवस्था नहीं है। बरसात के दिनों में नालियां जाम हो जाती हैं, जिससे पानी भर जाता है और दुर्गंध फैलने लगती है। वहीं, गर्मी के दिनों में छांव की कोई व्यवस्था न होने के कारण विक्रेता और ग्राहक दोनों को असुविधा होती है।
स्थायी स्थल की मांग
मछली विक्रेताओं ने नगर निगम से कई बार स्थायी दुकानें या प्लेटफॉर्म उपलब्ध कराने की मांग की है, ताकि वे सुरक्षित और व्यवस्थित तरीके से कारोबार कर सकें। उनका कहना है कि प्रशासन सिर्फ आश्वासन देता है, लेकिन आज तक कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया।
ग्राहकों को भी हो रही परेशानी
बाजार में आने वाले ग्राहकों का कहना है कि खुले में मछली बिकने से स्वच्छता पर सवाल खड़े होते हैं। अगर विक्रेताओं के लिए पक्की दुकानों की व्यवस्था हो जाए तो ग्राहकों को भी बेहतर सुविधा और साफ–सुथरा माहौल मिलेगा।
“सिर्फ आश्वासन, कार्रवाई नहीं”
एक विक्रेता ने नाराजगी जताते हुए कहा कि “नगर निगम कई बार निरीक्षण कर चुका है, लेकिन सिर्फ कागजी बातें हुईं। हमें उम्मीद थी कि इस बार स्थायी व्यवस्था होगी, परंतु हालात जस के तस बने हुए हैं।”
लोगों की अपील
स्थानीय लोगों और व्यापारियों ने मांग की है कि नगर निगम जल्द से जल्द मछली विक्रेताओं के लिए स्थायी दुकानें या मार्केट शेड बनवाए, ताकि व्यापार व्यवस्थित ढंग से चल सके और बाजार का स्वरूप भी सुधरे।