कांकेर में नक्सल मोर्चे पर ऐतिहासिक सफलता
कांकेर पुलिस ने नक्सल विरोधी अभियान में बड़ी सफलता हासिल की है। पुलिस ने नक्सल संगठन के वरिष्ठ कैडर और 25 लाख के इनामी नक्सली प्रभाकर उर्फ बालमूरी नारायण राव को गिरफ्तार किया है। प्रभाकर, जिसे SZCM रैंक का माओवादी नेता माना जाता है, 40 वर्षों से नक्सल संगठन में सक्रिय था। वह उत्तर सब जोनल ब्यूरो के लॉजिस्टिक सप्लाई और MOPOS टीम का प्रभारी था।
नक्सल संगठन में प्रभाकर का प्रभाव
गिरफ्तार प्रभाकर राव नक्सल संगठन के प्रमुख नेताओं में से एक है और शीर्ष नेता सीसीएम सचिव गणपति का चचेरा भाई है। उसका संगठन में सचिव बसवा राजू, देवजी उर्फ कुमा दादा, कोसा, सोनू और मल्लाराजा रेड्डी जैसे बड़े नक्सली नेताओं के साथ करीबी संबंध था। उसकी पत्नी भी नक्सल संगठन की DVC सदस्य और रावघाट एरिया कमेटी की प्रभारी है।
पुलिस के नाकाबंदी अभियान में गिरफ्तारी
एडिशनल एसपी संदीप पटेल ने बताया कि प्रभाकर राव की गतिविधियां हाल ही में कांकेर जिले में बढ़ गई थीं। पुलिस ने 22 दिसंबर को अंतागढ़ थाना क्षेत्र में एक सटीक सूचना के आधार पर नाकाबंदी की और प्रभाकर को गिरफ्तार कर लिया।
गिरफ्तारी के महत्व और जांच जारी
प्रभाकर राव की गिरफ्तारी नक्सल विरोधी अभियान की दिशा में एक बड़ी कामयाबी मानी जा रही है। उस पर छत्तीसगढ़ सहित कई राज्यों में दर्जनों आपराधिक मामले दर्ज हैं। पुलिस उसकी गतिविधियों और नक्सल संगठन के नेटवर्क के बारे में जानकारी जुटाने के लिए उससे पूछताछ कर रही है।
2024 में अब तक की उपलब्धि
वर्ष 2024 में अब तक 884 माओवादी कैडरों को गिरफ्तार किया गया है। प्रभाकर की गिरफ्तारी से नक्सल संगठन को बड़ा झटका लगा है और यह पुलिस बल के लिए एक महत्वपूर्ण उपलब्धि है।
नक्सल अभियान को नई गति
इस कार्रवाई से नक्सल संगठन के आधार को कमजोर करने में मदद मिलेगी और क्षेत्र में सुरक्षा बलों का प्रभाव बढ़ेगा।
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