नजूल शाखा की तहसीलदार ने सिविल लाइन थाने में धोखाधड़ी का केस दर्ज कराया है।बिलासपुर में सरकारी जमीन की हेराफेरी कर बंदरबाट करने के मामले में जिला प्रशासन ने सख्ती दिखाई है। आवासीय उपयोग के लिए करोड़ों रुपए कीमती नजूल भूमि को लीजधारक ने एक बिल्डर के साथ मिलकर 54 टुकड़ों में बेच दिया। सरकारी नियमों को दरकिनार कर रजिस्ट्री कार्य.दरअसल, सिविल लाइन क्षेत्र के चांटापारा निवासी भूपेंद्र राव तामस्कर पिता स्वर्गीय कृष्ण राव तामस्कर शहर के बीच स्थित कुदुदंड में 2 एकड़ 13 डिसमिल नजूल की जमीन को लीज पर लिया था।
साल 2015 में लीज की अवधि खत्म होने पर आवेदन प्रस्तुत कर 30 साल यानी मार्च 2045 तक बढ़वा दिया। आवासीय उपयोग के लिए नजूल की जमीन को लीज पर दी गई थी। लेकिन, भूपेंद्र राव ने नगर निगम की अनुमति के बिना और टाउन एंड कंट्री प्लानिंग से ले-आउट पास कराए बगैर ही जमीन को 54 टुकड़ों में अलग-अलग लोगों को बेच दिया।
खास बात यह है कि पंजीयन कार्यालय के दो डिप्टी रजिस्ट्रार ने नियमों को दरकिनार कर बेची गई सरकारी जमीन की रजिस्ट्री भी कर दी।कलेक्टर ने जांच कराई तो सामने आई गड़बड़ी।कलेक्टर ने कराई जांच, गड़बड़ी सामने आने पर FIR कराने दिए निर्देश एक तरफ नजूल की जमीन की बिक्री हो गई, वहीं दूसरी तरफ टुकड़ों में की गई कई बिक्री का नामांतरण भी नजूल अधिकारी के द्वारा कर दिया गया। जबकि इसका नामांतरण नहीं करने के लिए निगम आयुक्त ने नजूल अधिकारी को पत्र भी लिखा था।
नजूल की करोड़ों की जमीन बेचने का मामला सामने आने के बाद कलेक्टर अवनीश शरण ने जांच के लिए कमेटी बनाई, जिसमें संयुक्त कलेक्टर मनीष साहू की अध्यक्षता में पांच सदस्यीय टीम ने इसकी जांच की। जांच रिपोर्ट में कई चौकाने वाले खुलासे हुए, जिसके बाद कलेक्टर ने इस मामले में धोखाधड़ी करने वाले लीजधारक भूपेंद्रराव तामस्कर व बिल्डर राजेश अग्रवाल पर केस दर्ज कराने के निर्देश दिए।पुलिस की जांच में सामने आएंगे कई आरोपी कलेक्टर अवनीश शरण ने जांच रिपोर्ट के आधार पर नजूल अधिकारी को पत्र लिखकर नामांतरण पुनर्विलोकन करने से लेकर निरस्त करने के साथ ही रजिस्ट्री शून्य कराने के लिए आदेशित किया है। कलेक्टर ने नगर निगम को भी पत्र लिखकर कार्रवाई करने के निर्देश दिए। साथ ही पंजीयन विभाग को पत्र लिखकर उक्त जमीन का पंजीयन करने वाले तत्कालीन पंजीयक व उप पंजीयक की जानकारी लेकर लक्ष्मी पांडेय व वीएस मिंज के निलंबन और अनुशासनात्मक कार्रवाई के लिए शासन को पत्र लिखा गया है।
कलेक्टर के निर्देश पर मंगलवार को नजूल तहसीलदार शिल्पा भगत सिविल लाइन थाने पहुंची, जहां उन्होंने आवासीय प्रयोजन के लिए नजूल भूमि की लीज लेकर इसे टुकड़े में बेचने वाले भू-स्वामी भूपेंद्र राव तामस्कर व बिल्डर राजेश अग्रवाल के खिलाफ केस दर्ज कराया है। इस केस में पुलिस की जांच के दौरान करोड़ों रुपए की जमीन हेराफेरी करने वाले अन्य लोगों को भी आरोपी बनाया जाएगा।