महाराष्ट्र कैबिनेट में अहम फैसला, सरकारी दस्तावेजों पर मां का नाम अनिवार्य..!
मुंबई: मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे की अध्यक्षता में सोमवार को राज्य कैबिनेट की अहम बैठक हुई. इस बीच सरकार ने कई अहम फैसले लिए हैं. इसमें एक अहम फैसला यह है कि अब किसी भी सरकारी दस्तावेज पर मां का नाम अनिवार्य होगा. सह्याद्री गेस्ट हाउस में सोमवार को राज्य कैबिनेट की बैठक हुई. इस दौरान बैठक में एक महत्वपूर्ण निर्णय लिया गया कि रुपये के व्यय को मंजूरी दी जायेगी.
बैठक में मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे, उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फड़णवीस, उपमुख्यमंत्री अजित पवार और अन्य मंत्री उपस्थित थे. सरकारी दस्तावेजों पर मां का नाम अनिवार्य होने जा रहा है. अयोध्या में महाराष्ट्र गेस्ट हाउस बनाया जाएगा. साथ ही आज की बैठक में एक महत्वपूर्ण निर्णय यह लिया गया कि दो सरकारी कॉलेजों अर्थात् गवर्नमेंट इंस्टीट्यूट ऑफ फॉरेंसिक साइंसेज और सिडेनहेम इंस्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट स्टडीज को डॉक्टर होमी भाभा स्टेट यूनिवर्सिटी, मुंबई के समूह विश्वविद्यालय में शामिल किया जाएगा.
इसके साथ ही मुंबई में तीन सौ एकड़ जमीन पर विश्वस्तरीय मुंबई सेंट्रल पार्क बनाया जाएगा. जीएसटी में 522 पदों पर भर्ती की जाएगी. मुंबई में बुनियादी ढांचे के विकास के लिए केएफडब्ल्यू से 850 करोड़ की वित्तीय सहायता ली जाएगी. साथ ही राज्य उत्पाद शुल्क विभाग का एक अलग प्रशिक्षण केंद्र भी स्थापित किया जाएगा.
खास बात यह है कि राज्य सरकार ने जीएसटी में नए 522 पदों को मंजूरी देने का अहम फैसला लिया है. इसके साथ ही राज्य उत्पाद शुल्क विभाग में नए निदेशक का पद भी भरने जा रहा है. विधि एवं न्याय विभाग के कार्यालयों के लिए नये भवन का निर्माण कराया जायेगा. प्रदेश में जिलों के विकास के लिए संस्थागत क्षमता निर्माण परियोजना क्रियान्वित की जायेगी. दिलचस्प बात यह है कि राज्य में थर्ड पार्टी पॉलिसी 2024 को मंजूरी देने का अहम फैसला आज राज्य कैबिनेट की बैठक में लिया गया.
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